नदी का पानी देख रुके बाराती, जानें आगे क्या हुआ
औराई(मुजफ्फरपुर)। बागमती बांध के अंदर बसे बभनगामा पश्चिमी में नदी के तट पर आकर बारात अचानक रुक गई। नदी की उफान को देखकर देख बाराती घबरा गए और जाने लगे।
दूल्हा व उसके पिता भी शादी टालने की बात सोचने लगे। लेकिन गांव के लोगों व रिश्तेदारों के मनाने के बाद सभी चलने को तैयार हो गए। सुरक्षा का आश्वासन देकर सभी को नाव से गांव ले गए। वहां शादी समारोह संपन्न होने के बाद नाव से ही विदाई हुई।
बताया गया कि औराई के ही खेतलपुर गांव से दूल्हा इम्तेयाज बारात लेकर बभनगामा पश्चिमी बागमती तटबंध पर पहुंचा। वहां की स्थिति देख सभी रुक गए। इम्तेयाज विदेश में काम करता है। उसकी शादी बभनगामा पश्चिमी के अताउल रहमान की बेटी अनीशा से हुई है।
लोगों ने बताया कि कल तक चचरी पुल से लोग आते-जाते थे। लेकिन नदी में पानी काफी बढ़ गया। इस वजह से चचरी डूब गई है। नाव ही आवागमन का सहारा है।
खेतलपुर गांव से जब बारात लेकर असगर अली अपने बेटे इम्तेयाज के साथ पहुंचे तो बताया गया कि यहां से नाव से गांव तक जाना है। लेकिन जलस्तर देखकर नाव से कोई जाने को तैयार नहीं था।
इस बीच शादी टालने की बात भी होने लगी लेकिन रिश्तेदारों और ग्रामीणों ने सभी को समझाया और नाव पर तैराक के साथ सभी को सुरक्षित पहुंचाने का भरोसा दिया गया।
इसके बाद सभी गांव पहुंचे जहां शादी संपन्न हुई। इसी अंदाज में देर शाम शादी के बाद बारात संग दूल्हा व दुल्हन को नाव के सहारे बागमती तटबंध पर पहुंचाया गया। वहां से सभी कार से विदा हुए।
गांव के लोगों ने बताया कि बांध निर्माण के बाद वे लोग विस्थापित हो गए। गांव में आवागमन का कोई साधन नहीं है। नाव व चचरी के सहारे यहां के लोगों की जिंदगी कट रही है। इस कारण इस इलाके में कोई अपनी लड़की देना नहीं चाहता है। बड़ी मुश्किल से यहां शादी होती है।