पटना में धरने पर बैठे शिक्षक और अभ्यर्थी, कहा- चयन हो गया तो नियुक्ति पत्र देने की तारीख दें सरकार
पटना। शिक्षक दिवस के दिन शिक्षक बनने के लिए चयनित युवाओं ने गर्दनीबाग धरनास्थल पर धरना दिया। टीईटी शिक्षक संघ और एसटीईटी शिक्षक संघ के बैनले तले युवाओं ने अलग-अलग धरना प्रदर्शन आयोजित किया। दोनों ही जगह पर सरकार विरोधी नारे लगे। धरना में शामिल होने के लिए राज्य भर से बड़ी संख्या में युवा पटना पहुंचे थे।
टीईटी शिक्षक संघ की मांग
टीईटी शिक्षक संघ के अध्यक्ष राजेन्द्र सिंह ने कहा कि जिन लोगों का चयन शिक्षक नियोजन में हो गया है और चयनित अभ्यर्थियों के नाम भी एनआईसी पर आ गए हैं उन सभी को दो महीने बाद भी नियुक्ति पत्र नहीं दिया गया है। सरकार का कहना है कि सर्टिफिकेट जांच के बाद नियुक्ति पत्र दिया जाएगा। जबकि सच यह है कि अभी तक सर्टिफिकेट की जांच शुरू नहीं हुई है। केवल बरगलाया जा रहा है और कहा जा रहा है कि समय पर नियुक्ति पत्र देंगे। संघ की मांग है कि सरकार समय सीमा बताए, तिथि घोषित करे कि कब नियुक्ति पत्र देगी। दूसरी मांग है कि जिनका चयन अब तक नहीं हो पाया है उनकी काउंसिलिंग सरकार कराए। अभी भी 47 हजार पद खाली पड़े हुए हैं।
एसटीईटी शिक्षक संघ की मांग
दूसरी ओर एसटीईटी शिक्षक संघ के अनिल कुमार ने कहा कि सरकार विज्ञापन के साथ खिलवाड़ कर रही है और किसी भी सूरत में सरकार को यह नहीं करने दिया जाएगा। राज्यपाल का आदेश है इसलिए विज्ञापन रद्द नहीं किया सकता। नॉट मेरिट और मेरिट के बीच युवाओं को सरकार बांट रही है। उन्होंने कहा कि मांग पूरी नहीं हुई तो 15 दिन के अंदर आमरण अनशन किया जाएगा। अगर आमरन अनशन का परमिशन नहीं देती है तो आत्मदाह का परमिशन सरकार दे दे। कहा कि सरकार ने कानून को हाथ में लिया तो हम भी कानून को हाथ में ले लेंगे। इस दौरान एसटीईटी के धरना प्रदर्शन को संबोधित करते हुए राजद के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि किसी को कानून हाथ में लेने की जरुरत नहीं है। हम सत्याग्रह से जीतेंगे।