राज्यसभा चुनाव के लिए संजय झा ने किया नॉमिनेशन, मुख्यमंत्री और दोनों डिप्टी सीएम रहे मौजूद
- बीजेपी से पूर्व मंत्री भीम सिंह और धर्मशीला गुप्ता ने पर्चा भरा, कांग्रेस ने अखिलेश भरोसा जताया
पटना। राज्यसभा की छह सीटों के लिए प्रत्याशियों का नामांकन चल रहा है। बिहार की तमाम पार्टियों के उम्मीदवार नॉमिनेशन कर रहे हैं। गुरुवार को नामांकन का अंतिम दिन है। इससे एक दिन पहले बीजेपी, जेडीयू और कांग्रेस के उम्मीदवारों की ओर से नॉमिनेशन किया गया है। वहीं, आरजेडी ने अशफाक करीम का पत्ता कटा दिया है। अशफाक की जगह तेजस्वी के करीबी संजय यादव को प्रत्याशी बनाया गया है। इसके साथ ही मनोज झा पर आरजेडी ने दुबारा भरोसा जताया है। जदयू प्रत्याशी सह पूर्व मंत्री संजय झा ने नामांकन पर्चा भरा है। इस दौरान सीएम नीतीश कुमार, डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी, विजय सिन्हा और सांसद ललन सिंह मौजूद रहें। वहीं, कांग्रेस की ओर से प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश सिंह ने नॉमिनेशन किया है। इधर, बीजेपी से पूर्व मंत्री डॉ. भीम सिंह और धर्मशीला गुप्ता ने पर्चा भरा है। कांग्रेस की बिहार इकाई के प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह को पार्टी फिर से राज्यसभा भेज रही है। कांग्रेस के सिंबल पर उन्होंने बिहार विधानसभा में अपना नामांकन पर्चा भरा है। नामांकन के पहले उन्होंने नीतीश कुमार और अमित शाह पर जोरदार हमला बोला है। कांग्रेस नेता अखिलेश सिंह ने कहा कि नीतीश कुमार पलटी मारकर एनडीए में चल गए हैं। इससे हमारे गठबंधन पर कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है। हम लोग पहले से ही एकजुट हैं और आगे भी मजबूती से साथ रहेंगे। उन्होंने कहा कि नीतीश के पास वैसे भी कुछ बचा नहीं था। ऐसे में उनके आने या जाने से कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है। अखिलेश सिंह ने महागठबंधन में टूट के सवाल पर कहा कि जो लोग दूसरों की पार्टी तोड़ते रहते थे। उनकी ही पार्टी टूट गई तो उनकी बात कीजिएगा। महागठबंधन का टूटा या हमारा टूट गया उससे ज्यादा फर्क इससे पड़ता है कि जो दूसरे की पार्टी तोड़ने का खेल करते थे। उसके साथ ही खेल हो गया। इससे अधिक क्या हो सकता है। जदयू के तरफ से पहली बार राज्यसभा जा रहे संजय झा ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बड़ी जिम्मेदारी दी है। पहले बिहार में काम करने का मौका दिया और अब सदन में जाकर काम करने का मौका दिया है। बिहार की समस्याओं को रखेंगे और राज्य के हित में जो भी होगा, वह जरूर करेंगे। इसके अलावा लोकसभा चुनाव को लेकर उन्होंने कहा कि बिहार में हमारी गठबंधन सभी सीटों पर बहुमत हासिल करेगी। आगे बिहार में नौकरी मिलेगी, उद्योग लगेगा, इसको लेकर हम लोग काम करेंगे। माले के राष्ट्रीय महासचिव दीपांकर भट्टाचार्य से कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे की बातचीत मंगलवार की रात हुई। बातचीत के बाद माले ने राज्यसभा की अपनी दावेदारी इस बार कांग्रेस के लिए छोड़ दी है। उसके बाद कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह ने राज्यसभा के लिए अपना नामांकन पर्चा भरा है। बातचीत में यह भी तय हुआ है कि राज्यसभा की सीट के बदले माले को कटिहार लोकसभा की सीट दी जाएगी।