मानव निर्माण के बगैर बिहार का निर्माण असंभव : पप्पू यादव
पटना। जन अधिकार पार्टी (लो) के संरक्षक सह सासंद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने कहा है कि बिल्डिंग बिहार समिट 2018 का आयोजन बिहार की माटी से जुडे युवाओं ने किया है, जो एक सार्थक पहल है। लेकिन बिहार का निर्माण बिना व्यक्ति के निर्माण के संभव नहीं है। क्योंकि आज भी लोगों का नजरिया जाति और धर्म जैसी चीजों पर बदल जाता है, जो किसी भी समाज या देश की प्रगति में बाधक है। सांसद श्री यादव ने ये बातें अप्रवासी भारतीय द्वारा आईटी सिटी बेंगलुरू में आयोजित बिल्डिंग बिहार समिट 2018 में कहीं। उन्होंने कहा कि झारखंड के अलग होने के बाद बिहार से नेचुरल रिर्सोस लगभग समाप्त हो गया। आद्यौगिकीकरण के लिए उपयुक्त माहौल आज तक नहीं बन पाया। ऐसे में बिहार का विकास अधूरा रह गया। आज हमारे पास पानी है, जिसे हम ऊर्जा के रूप में विकसित कर सकते हैं। उसका उपयोग सिंचाई में कर सकते हैं। मगर बिहार के नेताओं ने और यहां के लोगों ने खुद इसे अपने लिए नासूर बना कर रख लिया है। यही वजह है कि बिहार कभी सूखाड़ की मार झेलता है तो कभी बाढ़ की।
उन्होंने कहा कि बिहार के पिछड़ने के लिए यहां की राजनीतिक और सामाजिक उदासनीता भी जिम्मेवार है। जिन लोगों के पास एक लंबे वक्त तक सत्ता रही, उन्होंने एक भी काम ठोस तरीके से नहीं किया। चाहे वो लालू प्रसाद हों या नीतीश कुमार। इन्होंने अपने निजी स्वार्थ के लिए सिर्फ सत्ता का दुरूपयोग किया और बिहार बदहाली के दलदल में लगातार धंसता चला गया। बिहार के इतिहास यकीनन गौरवशाली है, मगर वर्तमान हमें चिंतित करता है। आज हमारे यहां न ढंग का कोई अस्पातल है और न ही कोई शिक्षण संस्थान। यही वजह है कि बिहार के युवाओं को अपनी ही माटी से पलायन को मजबूर होना पड़ता है।
उन्होंने कहा कि बिहार का निर्माण अब युवा ही कर सकते हैं। यह बेहद अच्छी पहल है कि आज बिहार के युवा यूएस में नौकरी करते हुए भी अपने बिहार की चिंता करते हैं, जिसका प्रतिफल यह आयोजन है। मैं इसके आयोजकों को धन्यवाद देता हूं। साथ ही कहना चाहता हूं कि अगर बिहार को बदलना है तो मानव निर्माण आवश्यक है, जो संपूर्ण दुनियावी स्वार्थ को त्याग कर बिहार के निर्माण में अपना सर्वस्व न्योछावर करने के लिए तैयार हों। यही एक निर्माणकर्ता की निशानी होती है। दूसरा उन लोगों को भी जनता के सामने बेनकाब करने की जरूरत है, जिन्होंने लंबे वक्त तक जिम्मेवारी के पद पर बैठ कर बिहार को गर्त में पहुंचाने का काम किया है।
वहीं, बिल्डिंग बिहार समिट 2018 की ओर से राहुल और शशांक ने भी इस कार्यक्रम के आयोजन के महत्व और विजन को बैंगलुरू में रह रहे बिहार के युवा आईटी के लोगों से साझा किया और बिहार के निर्माण में अपनी सोशल जिम्मेवारी को निभाने की अपील की। इस कांफ्रेंस में अमेरिका समेत विभिन्न देशों में रहने वाले अप्रवासी भारतीय ने ऑन लाइन हिस्सा लिया और श्री यादव से सवाल – जवाब भी किया।