पटना के आईजीआईएमएस में नर्सों की हड़ताल, काम बंदकर किया प्रदर्शन, जानें क्या हैं उनकी मांगें

पटना । राजधानी पटना के इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (आईजीआइएमएस) में गुरुवार को नर्सों ने हड़ताल कर दी है। उन्होंने काम बंदकर प्रदर्शन कर रहे हैं। अन्य कर्मचारी भी हड़ताल का समर्थन कर रहे हैं। प्रदर्शन अगस्त माह की सेलरी नहीं मिलने को लेकर चल रहा है।

निदेशक डॉ. एनआर विश्वास ने पहले ही हड़ताल की आशंका में स्वास्थ्य विभाग के एडिशनल चीफ सेक्रेटरी को पत्र लिखा था। विभाग ने इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया व कर्मचारी हड़ताल पर जाने लगे हैं।
आईजीआईएमएस के लगभग 1500 से अधिक कर्मियों ने हड़ताल को लेकर निदेशक को पत्र दिया था। गुरुवार को लेकर चेतावनी दी गई थी। उन्होंने कहा था कि अगर अगस्त माह का वेतन नहीं मिला तो वह गुरुवार से हड़ताल पर जाएंगे।
15 सितंबर तक अगस्त माह का वेतन नहीं मिलने से गुस्साए कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने की चेतावनी को निदेशक ने गंभीरता से लिया था और एडिशनल चीफ सेक्रेटरी को पत्र लिखकर समस्या से अवगत कराया था।
कर्मचारियों की चेतावनी से परेशान संस्थान के निदेशक ने स्वास्थ्य विभाग से गुहार लगाई थी। उन्होंने कहा कि अगर सेलरी नहीं दी जाती है तो हड़ताल से पूरी स्वास्थ्य व्यवस्था लड़खड़ा सकती है।
निदेशक डॉ एन आर विश्वास ने पहले का था कि अब हालात बेकाबू हो रहे हैं। इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (आईजीआईएमएस) में 1000 से अधिक मरीजों की ओपीडी है और अधिक संख्या में मरीज भर्ती भी हो रहे हैं।
वायरल के कारण ओपीडी में लगातार मरीजों की भीड़ बढ़ रही है। ऐसे में अगर कर्मचारियों की हड़ताल हुई तो इलाज में काफी मुश्किल होगी और फिर भार पटना मेडिकल कॉलेज पर बढ़ेगा। डॉक्टरों का कहना है कि इस बीमारी के सीजन में हेल्थ वर्करों की हड़ताल भारी पड़ सकती है।
निदेशक डॉ एन आर विश्वास का कहना है कि राशि के अभाव में कर्मचारियों के अगस्त माह का वेतन अभी तक नहीं दिया जा सका है। इस मामले में तत्काल समाधान नहीं किया गया तो समस्या होगी।
कर्मचारियों में वेतन भुगतान में हो रही देरी से काफी आक्रोश है। कर्मियों का कहना है कि 32 साल के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है जब वेतन समय से नहीं मिला है।
1500 से अधिक कर्मियों ने हड़ताल की चेतावनी दी थी गुरुवार को नर्स नई बिल्डिंग के पास जमा होने लगी और काम से अलग हो गई। संस्थान की तरफ से मांग करने के बाद भी राशि नहीं मिलने के कारण आक्रोश बढ़ गया और अब गुरुवार को हालात बेकाबू होने लगे हैं।
अगर कर्मचारियों ने हड़ताल कर दिया तो गुरुवार से व्यवस्था पूरी तरह से लड़खड़ा जाएगी। कर्मचारियों का कहना है कि स्वास्थ्य विभाग की मनमानी के कारण ऐसा हुआ है कि उन्हें सितंबर माह में आधा महीना बीतने के बाद भी अगस्त की सेलरी नहीं दी गई है।
संस्थान की तरफ से कर्मचारियों को मनाने की तैयारी की जा रही है। कहा जा रहा है कि वेतन शीघ्र आ जाएगा लेकिन कर्मचारियों में भारी आक्रोश है। उनका कहना है कि 15 दिनों से वह वेतन का इंतजार कर रहे हैं। कर्ज में हैं और अब तो परिवार में भी समस्या हो गई है।