कौशल विकास घोटाला मामले में चंद्रबाबू नायडू को मिली राहत, हाईकोर्ट ने दी चार हफ्ते की अंतरिम जमानत
अमरावती। आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट ने मंगलवार को कौशल विकास घोटाला मामले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन चंद्रबाबू नायडू को अंतरिम जमानत दे दी है। जमानत चार हफ्ते के लिए दी गई है। नायडू को करोड़ों रुपये के कौशल विकास घोटाला मामले में आपराधिक जांच विभाग (सीआईडी) ने 9 सितंबर को गिरफ्तार किया था, जिससे राज्य में अराजनीतिक उथल-पुथल मच गई। साथ ही कई टीडीपी नेताओं ने आरोप लगाया कि गिरफ्तारी एक राजनीतिक “षडयंत्र” के अलावा और कुछ नहीं थी। नायडू को झूठे आरोपों के आधार पर हिरासत में लिया गया था। आंध्र प्रदेश अपराध जांच विभाग ने नारा चंद्रबाबू नायडू के खिलाफ एक और भ्रष्टाचार का मामला दर्ज किया है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि वह अपने पिछले कार्यकाल के दौरान कुछ डिस्टिलरीज को अनुमति देकर शराब घोटाले में शामिल थे। सीआईडीमंगलागिरी पुलिस ने डिस्टिलरीज और ब्रुअरीज के आयुक्त और आंध्र प्रदेश राज्य पेय पदार्थ निगम के प्रबंध निदेशक डी। वासुदेव रेड्डी द्वारा दर्ज एक शिकायत के आधार पर 28 अक्टूबर, 2023 को अपराध संख्या 18/2023 के तहत पहली सूचना रिपोर्ट (एफआईआर) दर्ज की। भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। कोर्ट के आदेश के मुताबिक चंद्रबाबू नायडू को 24 नवंबर तक सशर्त जमानत दी गई है। कोर्ट ने उन्हें 24 नवंबर को सरेंडर करने का आदेश दिया गया है। कोर्ट की शर्तों के मुताबिक चंद्रबाबू नायडू अस्पताल के अलावा किसी भी कार्यक्रम में नहीं जा सकेंगे। इसके साथ ही वो किसी भी राजनीतिक कार्यक्रम में भाग नहीं ले सकेंगे ना ही किसी से फोन पर बात कर सकेंगे। करोड़ों रुपए के कौशल विकास घोटाला मामले में चंद्रबाबू नायडू करीब 50 दिनों से ज्यादा समय से राजमुंदरी जेल में हैं। 9 सितंबर को उन्हें सीआईडी ने गिरफ्तार किया था। इससे पहले उन्होंने विजयवाड़ा कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन वहां से निराशा हाथ लगने के बाद उन्होंने हाई कोर्ट का रुख किया था।