September 8, 2024

राजद का गृहमंत्री पर हमला, चितरंजन गगन बोले- अच्छे से अपना होमवर्क करके बिहार आए अमित शाह

पटना। राजद प्रवक्ता चित्तरंजन गगन ने कहा है कि अब जब कभी भी गृहमंत्री अमित शाह जी बिहार आएं तो पहले अच्छी तरह से होमवर्क कर लें। वरना बिहार के लोग उनके बातों का उपहास उड़ाते हैं। राजद प्रवक्ता ने कहा कि अमित शाह जी कल सीतामढी में एनडीए सरकार के दस वर्षों की तुलना यूपीए सरकार के दस वर्षों से करते हुए सरासर झूठ बोल कर लोगों को गुमराह कर रहे थे या तो उनका होमवर्क कमजोर था। राजद प्रवक्ता ने कहा कि 2005 में बनी नीतीश कुमार जी की सरकार में जो उपलब्धियां दिखाई पड़ रही थी दरअसल वह केन्द्र की यूपीए सरकार की हीं देन थी। आज भी केन्द्र अथवा राज्य की एनडीए सरकार अपनी जो उपलब्धियां बता रही है वह सब यूपीए एक और यूपीए दो के समय हीं शुरू की गई थी। केवल उनका नाम बदल दिया गया है। राजद प्रवक्ता ने केन्द्रीय गृह मंत्री को चुनौती देते हुए कहा है कि वे केन्द्र के यूपीए सरकार के दस वर्षों और एनडीए सरकार के दस वर्षों के कार्यकाल में बिहार को दिए गई सहायता पर शपथ के साथ श्वेत पत्र जारी करें। राजद प्रवक्ता ने कहा लालू प्रसाद जी रेल मंत्री के हैसियत से बिहार के मढ़ौरा, बेला और मधेपुरा में तीन-तीन रेल कारखाना खोले। मुजफ्फरपुर के बटलर को चालू किया गया। अनेकों रेल परियोजनाओं को स्वीकृति दी गई जो एनडीए सरकार द्वारा राशि उपलब्ध नहीं कराए जाने के कारण काम रुका हुआ है। जेपी सेतु पर रेल पुल बनाया गया। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क सम्पर्क योजना के तहत 36,500 किलोमीटर ग्रामीण सड़कों को बारहमासी सड़क निर्माण की स्वीकृति दी गई। बीआरजीएफ योजना के तहत बिहार के सभी जिलों को शामिल किया गया जिसके माध्यम से जिला के सर्वांगीण विकास के लिए प्रचुर राशि दी गई।फूड फॉर वर्क और मनरेगा योजना की शुरुआत कर बिहार को विशेष आर्थिक मदद दी गई और ग्रामीण स्तर पर लोगों को रोजगार दिया गया। राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना के तहत सभी अधिकांश गांवों तक बिजली पहुंचाई गई। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन एवं सर्व शिक्षा अभियान के माध्यम से शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए केन्द्र से पर्याप्त राशि दी गई। खाद्य सुरक्षा कानून के तहत लोगों को भोजन का अधिकार दिया गया । पटना इंजीनियरिंग कॉलेज को एनआईटी और अलीगढ़ विश्वविद्यालय का शाखा बिहार में खोला गया। यूपीए सरकार के समय कई ऐसी योजनाएं थीं जिसका अप्रत्यक्ष आर्थिक लाभ सबसे अधिक बिहार को मिला । यूपीए सरकार के समय केन्द्र प्रायोजित योजनाओं में 90 प्रतिशत केन्द्रांश रहता था जिसकी पुरी राशि वित्तीय वर्ष के शुरुआत में हीं राज्य को मिल जाता था। वहीं अब एनडीए सरकार में केन्द्र प्रायोजित योजनाओं की संख्या बढ़ा दी गई और केन्द्रांश की राशि 50 प्रतिशत कर दी गई। फूड फॉर वर्क और बीआरजीएफ को बन्द कर दिया गया। मनरेगा, प्रधानमंत्री आवास योजना ( जो पहले इन्दिरा आवास योजना के नाम से जाना जाता था) की राशि में बिहार के लिए कटौती कर दी गई। प्रधानमंत्री द्वारा बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने और विशेष पैकेज देने का वादा मात्र घोषणा बन कर रह गया। पटना विश्वविद्यालय को अभी तक केन्द्रीय विश्वविद्यालय की मान्यता नहीं दी गई। दरभंगा एम्स का मामला अभी लटका हुआ हीं है। राजद प्रवक्ता ने कहा कि गृहमंत्री जी झूठ बोलकर लोगों को गुमराह करना बंद कर दें। अन्यथा केन्द्र की यूपीए और एनडीए सरकार द्वारा बिहार को दी गई मदद पर खुले बहस की मांग स्वीकार कर लें।

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